WHY SELF TALK IS UPLIFTING ?आत्म संवाद

Self talk : खुद से बात करने की शक्ति

WHY SELF TALK IS UPLIFTING ?आत्म संवाद –आत्म-संवाद, यानी खुद से बातचीत, जीवन में आत्मविकास और सकारात्मक बदलाव लाने की एक सशक्त प्रक्रिया है। यह आपको अपने विचारों और भावनाओं को बेहतर तरीके से समझने और संतुलित करने में मदद करता है। आप यह भी जान पाते है कि आपका आचरण ,आपके अपने मूल्यों और लक्ष्यों से मेल खाता है की नही । आत्म-संवाद द्वारा हम अपने विचारों और भावनाओं को समझ सकते हैं. इससे हम अपने बारे में ज़्यादा सचेत हो सकते हैं और बेहतर मानसिक स्वास्थ्य और भावनात्मक नियंत्रण पा सकते हैं । आइए समझते है – आत्म-संवाद के महत्व और इसे प्रभावी तरीके से कैसे किया जाता है तथा जीवन मे इसका क्या महत्व है।

  • टेबल आफ कंटेन्ट
  • 1-आत्म-संवाद क्यों जरूरी है?
  • 2-आत्म-संवाद कैसे करें?
  • 3-आत्म-संवाद के लाभ
  • 4-निष्कर्ष
WHY SELF TALK IS UPLIFTING ?आत्म संवाद

1-आत्म-संवाद क्यों जरूरी है?

  1. Clarity of thinking: खुद से बात करने से आपके विचारों और उद्देश्यों को स्पष्टता मिलती है। यह आपको यह समझने में मदद करता है कि आप वास्तव में क्या चाहते हैं ,और कैसे इसे हासिल कर सकते हैं।
  2. Emotional Balance यह आपकी भावनाओं को प्रबंधित करने और तनाव, चिंता या नकारात्मकता को कम करने में सहायक है। हम आत्म संवाद से यह भी जानने की कोशिश करते है कि क्रोध ,भय या डर की भावना किस व्यक्ति, विचार या परिस्थिति के कारण उत्पन्न होती है। तभी हम उचित प्रबंधन द्वारा उन भवनाओं को नियंत्रित कर पाते हैं।
  3. Power of decision making: आत्म-संवाद आपकी निर्णय लेने की प्रक्रिया को सशक्त बनाता है। आप अपने विचारों और विकल्पों का विश्लेषण करके सही निर्णय लेने में सक्षम होते हैं। हम यह भी जान पाते है कि हमारे निर्णय हमारे वैल्यू और लक्ष्य की तरफ जा रहे है या नहीं ।
  4. Self Awareness : खुद से बात करना आपको अपनी कमजोरियों और क्षमताओं को पहचानने का मौका देता है, जिससे आप अपने व्यक्तित्व को निखार सकते हैं। यह हमे आत्मोंनती की तरफ ले जाता है और भावनात्मक कल्याण को मजबूत करता है।
WHY SELF TALK IS UPLIFTING ?आत्म संवाद

2-आत्म-संवाद कैसे करें?

  1. शांत माहौल चुनें: आत्म-संवाद के लिए एक शांत और एकांत जगह का चुनाव करें। यह आपको अपने अंदर गहराई से झांकने का अवसर देगा।
  2. प्रश्न पूछें: खुद से सवाल पूछें, जैसे “मैं इस समय कैसा महसूस कर रहा हूं?” या “मेरे लक्ष्य क्या हैं और उन्हें पाने के लिए क्या करना चाहिए?”।
  3. लिखें: अपने विचारों और भावनाओं को लिखें। यह प्रक्रिया न केवल आपको अपने विचारों को स्पष्ट करने में मदद करती है, बल्कि आपको अपनी प्रगति को ट्रैक करने का भी अवसर देती है।
  4. सकारात्मक affirmations का उपयोग करें: अपने आप से सकारात्मक बातें कहें, जैसे “मैं इस समस्या का हल निकाल सकता हूं” या “मैं हर परिस्थिति का सामना करने में सक्षम हूं।”
  5. प्राप्त परिणामों का मूल्यांकन करें: आत्म-संवाद के बाद अपने विचारों और कार्यों का विश्लेषण करें। देखें कि आपने क्या सीखा और भविष्य में इसे कैसे लागू कर सकते हैं।
WHY SELF TALK IS UPLIFTING ?आत्म संवाद

3-आत्म-संवाद के लाभ

  1. सशक्त आत्मविश्वास: खुद से बात करना आपके आत्मविश्वास को बढ़ाता है और आपको अपनी क्षमताओं पर भरोसा दिलाता है। आप अपनी क्षमताओ और कमियों का सही सही मूल्यांकन कर अपने जीवन के हर क्षेत्र मे उन्नति करते जाते है। जो आपको खुशी , संतोष देने के साथ आपको सार्थक जीवन जीने का उद्देश्य देता है ।
  2. बेहतर मानसिक स्वास्थ्य: यह प्रक्रिया तनाव और चिंता को कम करने में मदद करती है और आपको मानसिक रूप से शांत और स्थिर बनाए रखती है।
  3. सकारात्मक सोच: आत्म-संवाद नकारात्मक सोच को कम करता है और आपको अपने जीवन के प्रति एक सकारात्मक दृष्टिकोण विकसित करने में मदद करता है।
  4. संबंधों में सुधार: खुद को बेहतर तरीके से समझने से आप दूसरों के साथ बेहतर संवाद और संबंध बना सकते हैं।

4-निष्कर्ष

आत्म-संवाद एक महत्वपूर्ण अभ्यास है जो आपके जीवन में सकारात्मक बदलाव ला सकता है। यह आपकी आत्म-जागरूकता को बढ़ाने, आपके विचारों को स्पष्ट करने और आपके मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य को सशक्त बनाने का एक प्रभावी साधन है। इसलिए, रोजाना कुछ समय निकालकर खुद से बात करें और अपने जीवन को बेहतर बनाएं। आभार – इसको लिखने मे चैटgpt से सहायता ली गयी है । Satish Tripathi sctri48

Author: sctri48
मैं डाक्टर हूं ,रेडियोलॉजिस्ट। Mera hindi me blog में मेरी रुचि ब्लाग व रिव्यू लिखने में है। मैं मुख्य रूप से यात्रा ,स्वास्थ्य,जीवन ,शैली मोटिवेशन और विविध विषयों पर लिखता हू। मैं ट्रिपएडवाइजर, गूगल मैप कोरा फोरम पर भी लिखता रहता हू। इसके अलावा गाने में भी मेरी रुचि है। इसके अलावा मैं अंग्रेजी में भी लिखता हूं । My websites are www.travelprolife.com and www.blogsatish.com।

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